तांडव वेबसीरीज़ को लेकर शुरू हुई राजनीती
तांडव वेबसीरीज़ को लेकर जारी विवाद ने अब राजनीतिक रुप ले लिया हैं। दरअसल कई राजनेताओं ने आरोप लगाया कि तांडव वेबसीरीज़ में हिंदु की आस्था और भगवान पर व्यंग किया गया हैं, और उनका मज़ाक भी उड़ाया गया हैं।
जिसको लेकर कई राजनीतिक बवाल भी खड़ा हो गया है। इतना ही नहीं सूचना एंव प्रसारण मंत्रालय ने भी एमाज़ोन प्राइम को तलब किया हैं, और OTT से सूचना एंव प्रसारण मंत्रालय ने जवाब मांगा है कि इस तरह के कंटेंट को चलाने के लिए किस प्रकार की नियमावली तैयार की गई हैं।
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सोशल मीडिया पर लगातार इस सीरीज का विरोध बढ़ाता ही जा रहा हैं, विरोध में एक ही मांग की जा रही हैं कि वेबसीरीज़ को बैन कर दिया जाए, और ये सवाल पूछा जा रहा है कि आखिर हर बार हिंदु आस्थाओं के साथ ही इस तरह के कंटेंट का इस्तेमाल क्यों किया जाता है।
तांडव वेब सीरीज हो सकती है बैन

क्या हिंदु धर्म अपनी अवधारणा सर्व धर्म सम भाव के कारण यह सब झेल रहा है? आज हम इसी सावल पर विचार करेंगे , और बार बार होते ऐसे कृत्यों का भी विशलेषण करने की कोशिश करेंगे।
आखिर तांडव को लेकर क्या है विवाद?

दरअसल पूरा विवाद तांडव वेब सीरीज पर विवाद पहले एपिसोड के ही एक सीन पर है. इसमें अभिनेता मोहम्मद जीशान अयूब भगवान शिव बने नजर आ रहे हैं और यूनिवर्सिटी के छात्रों को संबोधित करते हुए कहते हैं कि आखिर आपको किससे आजादी चाहिए. उनके मंच पर आते ही एक मंच संचालक कहता है, ‘नारायण-नारायण. प्रभु कुछ कीजिए. रामजी के फॉलोअर्स लगातार सोशल मीडिया पर बढ़ते ही जा रहे हैं.
देखे #tandavwebseries मामले में पुलिस FIR ले रही थी पर महाराष्ट्र सरकार उन्हें रोक दिया. किसे बचाना चाहती हैं #MVA लखनऊ में तुरंत FIR दाखिल होकर वहां से 4 पुलिस मुंबई के liye रवाना हो गए. पर हिंदुत्व का झूठा झामा पहने वाली #Shivsena खामोश क्यों हैं? pic.twitter.com/dJnXkT0WDR
— Ram Kadam – राम कदम (@ramkadam) January 18, 2021
हालांकि इस वेबसीरीज़ के रीलिज होने के बाद से ही लगातार भाजपा नेताओं ने हिंदु की आस्था का मजाक उड़ाने के खिलाफ पुलिस स्टेशन में मामला दर्ज करवाया हैं।
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महाराष्ट्र के भाजपा विधायक राम कदम ने सीरिज़ के मेकर्स के खिलाफ मामला दर्ज करवाते हुए मांग की हैं तांडव के मेकर्स को कड़ी से कड़ी सजा मिले,वहीं राम कदम के अलावा महाराष्ट्र से बीजेपी सांसद मनोज कोटक ने प्रकाश जावड़ेकर को लिखे पत्र में कहा, “ऐसा लगता है कि तांडव के निर्माताओं ने जानबूझकर हिंदू देवताओं और हिंदू धार्मिक भावनाओं का अपमान किया है। हालांकि राम कदम के द्वारा शिकायत किए जाने पर तांडव के खिलाफ धारा 295A, और IT act धारा 67A के तहत मामला दर्ज कर लिया गया है।
Filed complaint against Tandav Web Series at Ghatkopar police station.
Police has assured quick investigation, FIR under Sec 295A of IPC, Section 67A of IT Act & Atrocities Act.Producer, Director, Writer, Actors & Amazon to be summoned soon.#BanTandavNow #Boycottandav pic.twitter.com/Apg0hNYZgJ— Ram Kadam – राम कदम (@ramkadam) January 17, 2021
सोशल मीडिया पर तांडव के खिलाफ बवाल मचने के बाद से ही विभिन्न संगठनों और लोगों ने शिकायत की है कि हिंदू देवी-देवताओं का ‘तांडव’ वेब सीरीज में मजाक उड़ाया गया है| उनके बारे में (आपत्तिजनक) टिप्पणी की गई है। कई संगठनों ने तो सीरिज पर प्रतिबंध लगाने की भी मांग की है और यह भी मांग की गई हैं कि भावनाओं को ठेस पहुंचाने को लेकर इसके अभिनेताओं, निर्माता और निर्देशक को माफी मांगनी चाहिए।

लेकिन क्या माफि मांगना ही काफि है , और सवाल तो यह हैं कि हर बार केवल हिंदु धर्म के देवी देवताओं का ही मज़ाक क्यों बनाया जाता है, लक्ष्मी बॉम्ब, आदिपुरुष, और ये वेबसीरिज़ तांडव ना जाने कितनी ही ऐसी फिल्म हैं जिनमें हिंदु धर्म की आस्था और भावनाओं का ध्यान दिए बगैर ही मजाक उड़ाया जाता है।
क्यों हर बार हिंदु धर्म को ही स्त्री विरोधी, और जातिवादी मान लिया जाता है। हिंदु धर्म के वे वेद जिन्हें आज विदोशों में पढ़ाया जाता है। उसी धर्म का मज़ाक हर बार और बार बार क्यों उड़ाया जाता हैं, क्या अब हिंदु धर्म का अर्थ फिल्म इंडस्ट्री के लिए केवल टीआरपी बटोरना ही है।
लेकिन भारत देश में केवल हिंदु धर्म की ही अवमानना क्यों , करोड़ों को व्यापार करने वाली इंडस्ट्री क्या हिंदु धर्म के विरुध्द कोई ऐजेंडा चला रही है। अगर कर रही हैं तो यह सही नही हैं इस पर रोक लगाने के लिए सरकार को ठोस कदम उठाना चाहिए।
रिपोर्ट- रुचि पाण्डें
मीडिया दरबार
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